Thursday, February 14, 2008

Immortality

रात ग़ालिब आए ख्वाब मॅ
मैने कहा "अरे चचा तुम यहाँ कैसे?"

बोले बिटिया Immortality isn't at all
what its cut out to be
बड़ी निकम्मी चीज़ है यह
न जाने कहाँ कहाँ नहीं जीना पड़ता
तुम जैसे उभरते शायरों के ख्वाबों मॅ
फटी पुरानी किताबों मॅ
सरकारी खातों और हिसाबों मॅ
टूरिस्ट गाइड के ज्वाबों मॅ

I said “You must be joking
आप भी मज़ाक कर रहे हैं ना"

बोले मज़ाक कहाँ तौबा
कभी जी के देखना ज़रा
मोहब्बत कि घिसी पिटी बातों मॅ
आशिक़ों कि झूंटी सौगातों मॅ
हिज्र और विसाल दोनो की रातों मॅ
टूटते दिलों और ज़ज्बातों मॅ
उफ्फ

मेरी सलाह मानो तो अच्छे से जीना
और वक़्त पर मर भी जाना
कुछ नही रखा मरने के बाद जीने मॅ
जब दिल ही नही धड़कता हो सीने मॅ
Believe me my dear
sometimes i feel like an old tart
walking endlessly on new streets.
Perish immortality
I could kill for a good night's sleep.